सिर्फ लाइट ही बंद करे- उपकरण नहीं, वरना ग्रिड ही बैठ जाएगी
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के 5 अप्रैल को रात 9 बजे 9 मिनट के लिए बत्ती बंद किए जाने की अपील के बाद विद्युत कंपनियां संकट में आ गई है। घबराहट की वजह यह है कि पावर लोड अचानक घटने से ब्लैक आउट हो सकता है और बिजली ग्रीड की भी बत्ती गुल हो सकती है। यदि ऐसा हुआ तो लंबे समय के लिए प्रदेश में अंधकार फैल जाएगा, क्योंकि ग्रीड को फिर से जनरेट करने में काफी वक्त लगेगा। इस संकट के चलते विद्युत मंत्रालय ने जनता से अपील की है कि केवल लाइट बंद करे फ्रीज आदि उपकरण चालू रखें।
विद्युत मंत्री आर.के.सिंह प्रधानमंत्री के इस अह्वान के साथ सकते में आ गए हैं। पावर मंत्रालय इस संकट से उबरने के प्रयास में लगा है, क्योंकि देशभर में पावर प्लांट से पावर हाउस तक घर-घर बिजली भिजवाने की जो तकनीकी व्यवस्था है उसे ग्रीड कहते हैं और यह ग्रीड सिर्फ लोड बढऩे से ही नहीं लोड के अचानक घटने से भी खराब हो सकती है। कोरोना लॉक डाउन के कारण दफ्तर, फैक्ट्री पहले से ही बंद हैं और बिजली की डिमांड में 25 से 30 फीसदी की रिकार्ड कमी आ गई है। अब प्रधानमंत्री की अपील के बाद 5 अप्रैल की रात जब घर-घर की बिजली भई बंद हो जाएगी तो देश में पावर लोड कम होने पर बिजली ग्रीड को संभालना मुश्किल होगा। केन्द्रीय विद्युत मंत्री आर.के. सिंह ने विभाग की उच्च स्तरीय मीटिंग बुलाई जिसमें मंत्रालय के पावर ग्रीड के अधिकारी शामिल हुए और ग्रीड की को बरकरार रखने के लिए रणनीति पर चर्चा की गई।
उपकरण चालू रखे जनता

विद्युत कंपनी ने जनता से आग्रह किया है कि वे प्रधानमंत्री के आव्हान पर घरों की बत्तियां बंद करें लेकिन अपने घर के अन्य उपकरण फ्रीज पंखे आदि चालू रखें जिससे ग्रीड का मेंटेनेंस बरकरार रहे। इसके साथ ही सभी अस्पतालों की बिजली चालू रहेगी साथ ही स्ट्रीट लाइट भी बंद नहीं होगी।