सकरा में नल-जल योजना ने तोड़ा दम, पेयजल के लिए मचा हाहाकार
मुजफ्फरपुर जिले के सकरा प्रखंड अंतर्गत सिराजाबाद पंचायत में नल जल योजना के लूट का यह आलम है की वार्ड संख्या 12 एवं 3 में बीते चार वर्षों से नल से जल नहीं निकल रहा है । ग्रामीणों का आरोप है कि यहां केवल टावर खड़ा किया गया, समरसेबल लगा एक महीना पानी निकला, उसके बाद पानी निकलना बंद हो गया जो आज तक बंद है । आम लोगों को पानी के लिए दर-दर भटकना पड़ रहा है ।इसकी शिकायत कई बार की गई लेकिन कोई सुनने वाला नहीं है।

उन्होंने जिलाधिकारी से जब शिकायत की तो घोटाला सामने आया । करीब 6 वार्डों में पैसा निकासी कर काम अधूरा ही छोड़ दिया गया । कहीं टावर लगे तो प्लास्टर नहीं और कहीं नल लगे तो बेस नहीं । बात यहीं खत्म नहीं होती पंचायत में चारों ओर वार्ड सदस्य वार्ड सचिव एवं उनकी निगरानी कर रहे हैं मुखिया के लापरवाही का यह आलम है कि नल जल योजना को लूट योजना समझ लिया गया । वार्ड संख्या 13 के वार्ड सदस्य एवं वार्ड सचिव पर प्राथमिकी हुई जिसमें वार्ड सचिव मुकेश कुमार जेल गए जेल से निकलने के बाद आनन-फानन में उक्त वार्ड का एमबी करा दिया गया आज भी करीब दो दर्जन घरों में नल का जल नहीं पहुंच रहा है । ग्रामीण जगदीप राय ने बताया कि नल तो लगा हुआ है लेकिन पानी आज तक नहीं आया इसकी शिकायत कई बार की गई लेकिन कोई सुनने तक नहीं आता। यह आरोप केवल जगदीप राय का नहीं है बल्कि गांव के दशरथ राय, अजब लाल राय, अशोक राय, अमरजीत कुमार ,लालबाबू राय, लालू राय, प्रमोद राय समेत कई लोगों ने बताया कि पानी के नाम पर इन लोगों ने लूट मचा ली है ।आनन-फानन में सरकारी महकमा कागज पर ही योजना को पूर्ण कर दिया लेकिन धरातल पर स्थिति कुछ और ही है। उन्होंने आरोप लगाया कि धरातल पर जांच नहीं होने के कारण पैसा का बंदरबांट किया गया । सही में जांच हो तो सरकारी राशि की वसूली हो जाएगी । वहीं वार्ड संख्या 12 में चार वर्ष बीत गए, लोग पानी के लिए तरस रहे हैं लेकिन आज तक पानी लोगों को नसीब नहीं हो पा रहा रहा है ।
अधिकारियों को जब इस संदर्भ में कहा जाता है तो वे लोग अपना पल्ला झाड़ लेते हैं । इस मामले में वार्ड सदस्य एवं सचिव के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई गई लेकिन अब तक एक वार्ड सदस्य एक वार्ड सचिव एवं पंचायत के पूर्व मुखिया की ही गिरफ्तारी हो पाई है अन्य लोग अभी भी पुलिस प्रशासन की नजर से फरार हैै। वार्ड संख्या तीन निवासी पिंकी देवी, रानी देवी ने कहा की कोई किसी का नहीं सुनता । सब सरकारी राशि के लूट में लगे हुए हैंं। चारों तरफ गंदगी है । शौचालय नहीं है। शौचालय के नाम पर लूट मची हुई है। पेयजल की व्यवस्था नहीं है, लोग बीमार पड़ रहे हैं लेकिन जनप्रतिनिधियों के कानों जूं तक नहीं रेंगती। उन लोगों ने कहा कि दलित- महादलित बस्ती में पंप लगाया गया लेकिन पंप लगने के दो महीने बाद ही पानी निकलना बंद हो गया जिसे ठीक करने के लिए पूर्व मुखिया को कई बार लोगों ने कहा वार्ड को भी कहा लेकिन आज तक इस पर किसी ने ध्यान नहीं दिया। इस मामलेे में प्रखंड विकास पदाधिकारी आनंद मोहन ने कहा की पंचायत के 6 वार्डों में पानी की आपूर्ति सही ढंग से नहीं हो पा रही थी। ग्रामीणों की शिकायत पर जांच कराई गई तथा पंचायत में नल जल योजना मद में 1.20 करोड़ रुपए के निकासी के बावजूद काम को सही ढंग से नहीं कराए जाने के मामले में प्राथमिकी दर्ज कराई गई है।